पत्रकार राघवेंद्र हत्याकांड का खुलासा, वजह जानकर रह जाएंगे हैरान
सुपारी देकर कराई गई थी हत्या ,बाबा शिवानंद सहित 3 आरोपियों को गिरफ्तार किया

यूपी के सीतापुर में पत्रकार राघवेंद्र बाजपेई की लखनऊ दिल्ली हाई वे पर बीचों बीच दिन दहाड़े गोली मार कर की गई सनसनी खेज हत्याकांड का पुलिस ने आज खुलासा करने का दावा किया।जिसमें पुलिस ने घटना के 33 दिन बाद तीन साजिशकर्ताओं को गिरफ्तार किया।जबकि हत्या में शामिल दो शूटर अभी भी फरार है।उन्हें पकड़ने के लिए क्राइम ब्रांच की तीन टीमों के अलावा एसटीएफ की सात टीमें लगातार लगी हुई है।
पत्रकार राघवेंद्र की हत्या की साजिश में शामिल कारेदेव बाबा मंदिर के पुजारी बाबा शिवानंद उर्फ विकास राठौर और उनके दो परिचितों निर्मल सिंह व असलम गाजी को गिरफ्तार किया गया है।
एसपी ने दावा किया कि पत्रकार राघवेंद्र ने बाबा को मन्दिर के ही एक किशोर के साथ कुकर्म करते देख लिया था जिसे दबाने के लिए पत्रकार के द्वारा 20 लाख की रकम मांगी गई थी इसी बात को लेकर बाबा ने पत्रकार की हत्या कराए जाने की सुपारी दी थी।फिलहाल एसपी का खुलासे को लेकर दावा किया जा रहा है वही घटना से जुड़े आज भी कई अनसुलझे पहलू हैं जो खुलासे पर प्रश्न चिन्ह लगाते हुए नजर आ रहे है।
बताते चले कि पत्रकार राघवेंद्र बाजपेयी की 8 मार्च को दोपहर करीब तीन बजे हेमपुर ओवरब्रिज पर चार गोलियां मारकर हत्या कर दी गई थी। घटना के बाद से ही एसपी चक्रेश मिश्र के निर्देश पर क्राइम ब्रांच निरीक्षक सत्येंद्र विक्रम सिंह के नेतृत्व में तीन टीमों को खुलासे के लिए लगाया गया था।
इस दौरान पुलिस ने करीब सौ से अधिक संदिग्धों से पूछताछ की गई।वही करीब चार हजार से अधिक नंबरों को बीटीएस की मदद से रडार पर लिया गया।एसपी का दावा है कि पुलिस ने पहले प्लाट और धान खरीद के घोटाले को लेकर जांच की गई लेकिन उस दिशा में कोई ठोस सुराग नहीं मिला।उसके बाद जांच के दौरान ही एक सीसीटीवी फुटेज हाथ में लगा जिसके आधार पर पुलिस ने उस शख्स के बारे में पता लगाया तो उसकी नजदीकियां कारेदेव मंदिर के बाबा शिवानंद उर्फ विकास राठौर से होना पाया गया। जिसके बाद कारेदेव बाबा मंदिर में राघवेंद्र संग एक पुजारी की करीबियों के एंगल पर पड़ताल शुरू की। सीसीटीवी कैमरों में दो लोग कारेदेव बाबा मंदिर, राघवेंद्र के घर के आसपास और महोली कस्बे में संदिग्ध रूप से घूमते नजर आए। इन पर शक पुख्ता होते ही गहनता से जांच की गई।एसपी ने दावा किया कि पूछताछ में कारेदेव बाबा मंदिर के पुजारी शिवानंद बाबा उर्फ विकास राठौर, उनके करीबी निर्मल सिंह और असलम गाजी को गिरफ्तार किया गया है। पूछताछ में सामने आया कि राघवेंद्र के हाथ शिवानंद बाबा के कुछ ऐसे राज लग गए थे। जिससे उनकी काफी बदनामी होती। इसका जिक्र शिवानंद ने अपने करीबी निर्मल सिंह से किया। निर्मल सिंह ने असलम गाजी की मदद से दो शूटरों को राघवेंद्र की सुपारी दी। इसके बाद रेकी कर शूटरों ने राघवेंद्र की हत्या कर दी।
एसपी चक्रेश मिश्रा ने प्रेस कांफ्रेंस में मीडिया को बताया कि पुजारी शिवानंद बाबा उर्फ विकास राठौर मंदिर का पुजारी है। शिवानन्द के साथ मंदिर में एक किशोर रहता था जो कि साफ सफाई करता था। उसके बाबा के साथ संबंध थे। 7 फरवरी को बाबा के कुकर्म की वारदात पत्रकार ने देख ली थी। जिसके उजागर करने की बात पत्रकार ने कही तो बाबा ने उसे दबाने के लिए कहा।जिसके एवरेज में पत्रकार ने मामले को दबाने के लिए 20 लाख की मांग की थी।
एसपी का दावा है कि बाबा ने उक्त धनराशि को बाबा ने देने से इंकार कर दिया था। फिर बाबा ने मंदिर पर आने वाले अपने सहयोगी निर्मल सिंह से सम्पर्क साधा और निर्मल सिंह ने अपने साथी असलम गाजी को लेकर बाबा से मिले और हत्या की सुपारी 4 लाख में ली। इसमें 3 लाख बाबा ने निर्मल सिंह को दिए। जिसने शूटरों तक पैसा पहुंचाया। इस केस में शिवानंद बाबा, निर्मल सिंह और असलम गाजी गिरफ्तार हैं। दोनों शूटर फरार हैं।
